Help Videos
About Us
Terms and Condition
Privacy Policy
इजहारे_मुहब्बत - Dipti Sharma (Sahitya Arpan)

कवितागीत

इजहारे_मुहब्बत

  • 185
  • 5 Min Read

नमन माँ शारदे
नमन मंच
आयोजन--सा रे गा मा #अंत_का_आरंभ_भाग--२
दिनांक--०४/०३/२०२१
वार---गुरुवार
विधा--दोहा गीत
विषय--इजहारे_मुहब्बत

दिल सोचे हरपल यही , कैसे हो इजहार।
सुनकर बातें रस भरी, हो गया मुझे प्यार।
(लड़का )
छा रहा नशा प्यार का, दिल मेरा बैचेन।
जाने कब कैसे मिले, पागल दिल को चैन।
बंधन तुम हो प्रीत का, तुम मेरा संसार।
दिल सोचे हरपल यही, कैसे हो इजहार।
(लड़की )
तुम हरि मैं राधा बनूँ, ऐसी अपनी प्रीत।
तुम मुरली की तान तो, मैं उसका संगीत।
तुम सिंधु से मौन बड़े, मैं चंचल सी धार।
दिल सोचे हरपल यही ,कैसे हो इजहार।
(लड़का)
दोनों तरफ लगी अगन, दिल में है तूफान।
मन बावरा तरस रहा, दबा सभी अरमान।
दृग से झलके प्यार है, होठों पर इंकार।
दिल सोचे हरपल यही, कैसे हो इजहार।
(लड़की)
होता वहाँ प्यार नहीं, जहाँ हो हार- जीत।
धड़कनों पर नाम लिखा , तेरा ही मनमीत।
ले लो अब आगोश में, मिलन करो साकार।
दिल सोचे हरपल यही, कैसे हो इजहार।
सुनकर बातें रस भरी, हो गया मुझे प्यार।

दीप्ति शर्मा"दीप"
जटनी( उड़ीसा)
स्वरचित व मौलिक

inbound1717104007333109423_1614875756.jpg
user-image
Kamlesh  Vajpeyi

Kamlesh Vajpeyi 4 years ago

बहुत सुन्दर

Dipti Sharma4 years ago

आभार आपका

Ritu Garg

Ritu Garg 4 years ago

व्हा व्हा बहुत खूब

Dipti Sharma4 years ago

धन्यवाद आपका

Ritu Garg

Ritu Garg 4 years ago

व्हा व्हा बहुत खूब

Dipti Sharma4 years ago

धन्यवाद आपका

प्रपोजल
image-20150525-32548-gh8cjz_1599421114.jpg
वो चांद आज आना
IMG-20190417-WA0013jpg.0_1604581102.jpg
माँ
IMG_20201102_190343_1604679424.jpg
चालाकचतुर बावलागेला आदमी
1663984935016_1738474951.jpg
वक़्त बुरा लगना अब शुरू हो गया
1663935559293_1741149820.jpg