Help Videos
About Us
Terms and Condition
Privacy Policy
जीने लगा तो बशर मर गया - Dr. N. R. Kaswan (Sahitya Arpan)

कवितानज़्म

जीने लगा तो बशर मर गया

  • 10
  • 1 Min Read

जी भरकर जिए भी नहीं कि जीने से जी भर गया
मर मर कर जीते रहा जीने लगा तो बशर मर गया

© 'बशर' bashar بسر.

logo.jpeg
user-image
चालाकचतुर बावलागेला आदमी
1663984935016_1738474951.jpg
वक़्त बुरा लगना अब शुरू हो गया
1663935559293_1741149820.jpg
मुझ से मुझ तक का फासला ना मुझसे तय हुआ
20220906_194217_1731986379.jpg
प्रपोजल
image-20150525-32548-gh8cjz_1599421114.jpg
वो चांद आज आना
IMG-20190417-WA0013jpg.0_1604581102.jpg