Help Videos
About Us
Terms and Condition
Privacy Policy
*शीर्षक- नाच न जाने आँगन टेढ़ा* - Deepali Pant Tiwari 'Disha' (Sahitya Arpan)

कहानीसामाजिकव्यंग्य

*शीर्षक- नाच न जाने आँगन टेढ़ा*

  • 1109
  • 4 Min Read

विधा- लघुकथा
आज अनु सुपर मॉम कॉम्पिटिशन में हिस्सा लेने आई थी। दरवाजे से ही इतनी लंबी लाइन देखकर उसके तो हाथ पाँव फूल गए। अब उसे समझ नहीं आ रहा था कि वह क्या करे। पूरे मोहल्ले में वह ढिंढोरा पीटकर आई थी कि यह कॉम्पटीशन तो वो ही जीतेगी। उसने अचानक से तबियत खऱाब होने का नाटक शुरू कर दिया। साथ में आया पति बुरी तरह घबरा गया और उसे तुरंत ही घर लौटा लाया। रास्ते भर अनु यही सोचती रही कि अब वह लोगों से क्या कहेगी। जैसे ही मौहल्ले के लोग पूछताछ करने पहुँचे तो अनु ने कॉम्पटीशन ऑर्गनाइजर पर ही आरोप लगाने शुरू कर दिए। वहाँ की अव्यवस्थाओं का हवाला देने लगी। तभी मोहल्ले की चाची बोलीं बेटा नाच न जाने आँगन टेढ़ा वाली बात मत करो। हम सबको पता है कि तुम्हारा नाच कैसा है। चाची की ये बात सुनकर सब लोग हंसने लगे और अनु बगले झाँकने लगी।

स्वरचित
दीपाली पंत तिवारी 'दिशा'

inbound1875117860249473580_1601187075.jpg
user-image
Ankita Bhargava

Ankita Bhargava 4 years ago

बढ़िया

दादी की परी
IMG_20191211_201333_1597932915.JPG