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कविता -नजर - Arun V (Sahitya Arpan)

कविताअतुकांत कविता

कविता -नजर

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नजर
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पहिली मुलाकात मे
मिलती है एक नजर
जो कर देती है दिल
पर अपनेपन का असर ||

गम छा जाता है दिल पर
जिंदगी बोझ सी बन जाती है
कोई मिल जाए साथी ऐसे मे
सवंर जाती है यही जिंदगी ||

देखे जो प्यार से एक नजर
दिल चाहे ऐसा हमसफर ||
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अरुण वि.देशपांडे -पुणे.
9850177342
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