कवितागीत
गीत
प्यार हुआ इकरार हुआ है
हम किसी से न डरते अब...
ज़ू...ज़ू..........
खुल्ली सड़क पर,चले दो मनचले,
मालूम नहीं है कल क्या हो?
प्यार का खुमार, चढ़ा है सर अब,
कल जो होगा देखा जायेगा।
प्यार हुआ इकरार हुआ है,
हम किसी से न डरते अब,
ज़ू.... ज़ू...
प्यार में मदमस्त हो, दो अनजाने से हम,
हीर-रांझा सा अहसास हुआ अब हम दोनों को।
ईश्क का चढ़ा खुमार तो देखो,
न आज़ का पता न कल का पता।
प्यार हुआ इकरार हुआ है,
हम किसी से न डरते अब,
ज़ू...जू...
हूं... हूं...
मौलिक गीत
नूतन गर्ग (दिल्ली)