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कविताअन्य
कभी उलझा तो तेरी याद ने सुलझा दिया मेरे हर ग़म को तूने पलकों पर सजा दिया तेरे न होने पर भी तेरे होने का एहसास हैँ कुछ इस तरह तूने मुझ पर बिखरा दिया