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मुकद्दर में नहीं गुफ़्तगू - Dr. N. R. Kaswan (Sahitya Arpan)

कवितानज़्म

मुकद्दर में नहीं गुफ़्तगू

  • 39
  • 1 Min Read

मुकद्दर में नहीं गुफ़्तगू ''बशर" तो जुस्तजू ही सही!
गुरबत में मसर्रत नहीं मयस्सर तो आरज़ू ही सही!!
© "बशर"

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